खेत में मिला प्रतिबंधित मांस, हंगामा, मुकदमा दर्ज

जेबीगंज-खीरी।

पसगवां पुलिस ने शुक्रवार को प्रतिबंधित पशु का मांस मिलने की सूचना पर हिंदू संगठन भड़क गए। संगठनों का आरोप है कि पुलिस मामले में लीपापोती में जुटी हुई थी। बिना सैंपल लिए और मुकदमा लिखे ही मामले को टरकाया जा रहा था। अधिकारियों ने इंस्पेक्टर को फटकार लगाई। तब पुलिस हरकत में आई और आनन-फानन मुकदमा दर्ज कर लिया। पुलिस ने जिस मांस को जमीन में दफन करवा दिया था उसे खुदवा कर सैंपल जांच के लिए लैब भेजा है और आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है।

पसगवां कोतवाली के गांव सुकरुद्दीनपुर में किसान नरेंद्र सिंह के घर बंधा प्रतिबंधित पशु चोरी हो गया। अगले दिन कुछ अवशेष गांव से आधा किलोमीटर दूर खेत में देखे गए। मौके से एक बगौड़ी भी बरामद हुई। अवशेष मिलने के बाद क्षेत्र में सनसनी फैल गई। पसगवां कोतवाली पुलिस ने मांस के अवशेष बरामद कर एक गड्ढे में दफन करवा दिए और मामले को रफादफा करने में जुट गई। पीड़ित परिवार सहित ग्रामीणों को झुठी कार्रवाई का आश्वासन देकर खानापूर्ति करने लगी। जब ग्रामीणों ने देखा कि खानापूर्ति हो रही है तो हिन्दू युवा वाहिनी पसगवां टीम को सूचना दे दी। मामला प्रदेश की परशुराम सेना तक पहुंच गया। हिन्दू युवा वाहिनी की टीम दोपहर में मौके पर पहुंच गई। दबाव पड़ने पर पसगवां कोतवाली पुलिस हरकत में आ गई और तत्काल फिर मौके पर गई और जमीन में दफन किए गए अवशेष निकलवाए और उनको जांच के लिए भेजा। हिन्दू युवा वाहिनी के मोहम्मदी तहसील प्रभारी आकाश अवस्थी, पसगवां ब्लाक प्रभारी योगेश अवस्थी, ब्लाक महामंत्री करन कुशवाहा ने बताया कि पसगवां कोतवाली प्रभारी आदर्श कुमार सिंह ने लोगों को गुमराह किया है। मामले में तहरीर दे दी गई है। पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है। अभी तक न तो आरोपियों की गिरफ्तारी हुई है और न ही पुलिस उनको ट्रेस कर पाई है। कोतवाली निरीक्षक आदर्श कुमार सिंह ने बताया कि समय से पुलिस मौके पर गई थी और पहले ही मांस के सैंपल लेकर उसे गड्ढे में दबा दिया गया था। तहरीर न मिलने पर मुकदमे में देरी हुई। जल्द ही आरोपी गिरफ्तार किए जाएंगे।